एक राज्य ऐसा भी: पुलिस कर रही बम के लिए कॉम्बिंग ऑपरेशन

बम मारकर हत्या करना और भीड़ द्वारा पथराव करना यह घटनाएं पश्चिम बंगाल के लिए सामान्य बात हैं। चुनावी हथकंडे के रूप में लंबे काल तक चला यह षड्यंत्र अब प्रशासन के गले की हड्डी बन गया है।

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बीरभूम कामें नाम पिछले एक सप्ताह में चर्चित रहा है। यहां तृणमूल कांग्रेस से संबद्ध उपप्रधान को बम से उड़ा दिया गया था, जिसके पश्चात उमटी हिंसा में 9 लोगों को जिंदा फूंक दिया गया। इस घटना के बाद न्यायालय और केंद्रीय एजेंसियों की कड़ाई के बाद स्थानीय पुलिस ने एक अभियान शुरू किया है, जिसका नाम है बम बरामदगी अभियान। यह अभियाम राज्य के विभिन्न हिस्सों में स्थानीय स्तर मिलनेवाले देसी बम को नष्ट करने के लिए किया जा रहा है। परंतु, अति तो तब हो गई जब इस अभियान के बीच ही एक गांव में मजिउद्दीन नामक व्यक्ति के घर में रखे बम में विस्फोट हो गया।

पुलिस घर-घर बम ढूढ़ रही है, लोग आतंक से बम-बम कर रहे हैं, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के राज में पश्चिम बंगाल की हाल ऐसा ही है। लोगों में कानून को लेकर इतने लापरवाह हो गए हैं कि, नौ लोगों को जिंदा ही फूंक दिया गया। इस प्रकरण में न्यायालय के आदेश के बाद जांच कर रही सीबीआई को देखकर स्थानीय पुलिस सक्रिय हुई है। वह बीरभूम में घर-घर तलाशी अभियान चला रही है।

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पुलिस तलाश रही थी, हो गया विस्फोट
राज्य में चल रहे बम बरामदगी अभियान के बीच दक्षिण 24 परगना के बासंती थाना अंतर्गत फुलमालंच ग्राम पंचायत के पास 10 नंबर बोरिया गांव में मंगलवार तड़के बड़ा विस्फोट हुआ है। यहां रहने वाले मजिउद्दीन सरकार नाम के एक व्यक्ति के घर में तेज आवाज के साथ यह विस्फोट हुआ था। इसकी भयावहता इतनी अधिक थी कि मिट्टी का पूरा घर उड़ गया और आग लग गई। सूचना मिलने के बाद पुलिस की टीम मौके पर पहुंची और आग बुझाया है। घर वालों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है। स्थानीय लोगों ने बताया है कि मजिउद्दीन के घर में बड़े पैमाने पर बम एकत्रित कर रखे गए थे, जिनमें मंगलवार तड़के ब्लास्ट हुए हैं। पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि आखिर उसके पास इतने भारी मात्रा में बम कहां से आए और बारूद आदि कहां से खरीदा था।

स्थानीय लोगों का आरोप
स्थानीय लोगों ने बताया है कि जिस घर में ब्लास्ट हुआ है वहां से थाने की दूरी बहुत कम है और अमूमन इन क्षेत्रों में ब्लास्ट होते रहते हैं। आरोप है कि स्थानीय पुलिस बम पटाखे बनाने वालों को पकड़ने के बजाय उनसे रुपये की वसूली करती है।

भादू शेख के बदले नौ को फूंका
बीरभूम जिले में गत 21 मार्च की रात तृणमूल नेता भादू शेख की बम मारकर हत्या कर दी गई थी। इसका बदला लेने के लिए गांव में आगजनी हुई और नौ लोगों को जिंदा जला दिया गया। घटना के बाद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पूरे राज्य में मौजूद गैरकानूनी बम-बारूद-बंदूकों को बरामद करने का आदेश दिया था। जिसके लिए राज्य भर में पुलिस छापेमारी कर रही है।

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