आईएसआईएस के जाल में पुणे के साथ ठाणे का भी नाम, एनआईए के हत्थे चढ़ा एक और ‘नाचन’

महाराष्ट्र में आतंकवाद के खिलाफ एटीएस और एनआईए की छापेमारी जारी है।

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पुणे (Pune) में एनआईए (NIA) की कार्रवाई में आईएसआईएस (ISIS) के बड़े षड्यंत्र का भंडाफोड़ हुआ है। वहां से गिरफ्तार (Arrested) अल सुफा मॉड्यूल (Al Sufa Module) के आतंकी संशयितों से मिली जानकारी के आधार पर इसके तार ठाणे जिले के भिवंडी (Bhiwandi) से भी जुड़ गए हैं। एनआईए ने भिवंडी के पडघा (Padgha) से आकिब नाचन (Aqib Nachan) नामक एक आरोपी को पकड़ा है।

गौरतलब है कि पिछले महीने एनआईए ने मुंबई के नागपाड़ा से ताबिश नासिर सिद्दीकी, पुणे से जुबैर नूर मोहम्मद शेख उर्फ अबू नुसैबा और ठाणे से शरजील शेख और जुल्फिकार अली बड़ौदावाला को गिरफ्तार किया था। एटीएस और एनआईए ने पुणे, ठाणे और मुंबई से गिरफ्तार किए गए संदिग्धों के आपसी संबंध का खुलासा किया है, ये दोनों मॉड्यूल आईएसआईएस द्वारा बनाए गए हैं और इन दोनों मॉड्यूल को आईएसआईएस ने दो अलग-अलग नाम दिए थे। पडघा से जुल्फिकार की गिरफ्तारी के बाद, उससे पूछताछ में पता चला कि आकिब नाचन पडघा में जुल्फिकार को किराए पर घर दिलाने में मदद की थी।

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कौन हैं आकिब नाचन?
आकिब नाचन को 2022 में गुजरात एटीएस ने गिरफ्तार किया था। वह आईएसआईएस के सहयोगियों में से एक अल सुफा से जुड़ा था। फिर उन्हें 2023 में रिहा कर दिया गया। इसके बाद उसने जुल्फिकार अली बड़ौदावाला और जुबैर खान को एक फ्लैट किराए पर दिया और उनकी आर्थिक मदद भी कर रहा था। 2022 में गुजरात एटीएस द्वारा जब्त किए जाने से पहले उसने एक आलीशान बंगला बनाया था, इस बंगले के लिए उसे पैसे कहां से मिले, इसकी जांच अब एनआईए कर रही है।

पडघा में फिर आतंकियों की हलचल
ठाणे जिले के भिवंडी के पास पडघा गांव एक बार फिर एनआईए की छापेमारी के कारण सुर्खियों में है। एनआईए ने पिछले महीने पडघा से दो लोगों को गिरफ्तार किया था और अब आकिब नाचन की यह तीसरी गिरफ्तारी है। 2002 और 2003 में मुंबई सेंट्रल रेलवे स्टेशन, विलेपार्ले और मुलुंड में हुए बम धमाकों के सिलसिले में बॉम्बे क्राइम ब्रांच ने साकिब नाचन को गिरफ्तार किया था। नाचन की गिरफ्तारी से पहली बार पडघा गांव सुर्खियों में आया। खुलासा हुआ कि आतंकियों को पडघा के पहाड़ी इलाकों में ट्रेनिंग दी गई थी। साकिब नाचन की गिरफ्तारी के बाद, नाचन को आतंकवाद निरोधक अधिनियम के तहत हथियार रखने का दोषी ठहराया गया और अदालत ने दस साल जेल की सजा सुनाई। जेल से रिहा होने के बाद, नाचन अपने रिश्तेदारों के साथ अपने पैतृक स्थान पडघा वापस आ गया।

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