भारत के प्रयासों से वैश्विक पर्व बना योग दिवसः उपराष्ट्रपति

आज अनेक लोग योग को अपना कैरियर बना रहे हैं। प्रशिक्षित योग गुरु, विश्व भर में भारत के राजदूत के रूप में योग का प्रशिक्षण और प्रसार कर रहे हैं।

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अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर आज जबलपुर में आयोजित सामूहिक योगाभ्यास में शामिल होने के बाद उपराष्ट्रपति ने कहा कि भारत के प्रयासों से 21 जून का योग दिवस अब वैश्विक पर्व बना चुका है। उपराष्ट्रपति ने देश के नागरिकों से इस गौरवशाली अवसर का लाभ उठाने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि दुनिया के दृष्टिकोण में भारत के प्रति जो सकारात्मक बदलाव आया है वो दिखता है। उन्होंने कहा कि आज अनेक लोग योग को अपना कैरियर बना रहे हैं। प्रशिक्षित योग गुरु, विश्व भर में भारत के राजदूत के रूप में योग का प्रशिक्षण और प्रसार कर रहे हैं।

योग को विश्व पटल पर स्थापित करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा किए गए भागीरथ प्रयासों की सराहना करते हुए उपराष्ट्रपति धनखड़  ने कहा कि 27 सितंबर 2014 को संयुक्त राष्ट्र महासभा के 69वें सत्र में प्रधानमंत्री ने योग की जो अवधारणा विश्व समुदाय के सामने प्रस्तुत की थी कि “योग हमारी पुरातन पारंपरिक अमूल्य देन है, योग मन व शरीर, विचार व कर्म, संयम व उपलब्धि की एकात्मता तथा मानव और प्रकृति के बीच सामंजस्य का मूर्त रूप है। वह स्वास्थ्य और कल्याण का समग्र दृष्टिकोण है”, यह अवधारणा उसी वर्ष 11 दिसंबर 2014 को इतने कम समय में ही, विश्व समुदाय के 193 सदस्य देशों के समर्थन से फलीभूत हुई, जब संयुक्त राष्ट्र ने प्रति वर्ष 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के रूप में स्वीकार किया।

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