अभिनेता सोनू सूद को कथित अवैध निर्माण मामले में मुंबई उच्च न्यायालय से करारा झटका लगा है। इस मामले में अभिनेता को मुंबई महानगरपालिका ने नोटिस जारी किया था। सोनू सूद ने उसे मुंबई उच्च न्यायालय में चुनौती दी थी। न्यायालय ने उन्हें पहले 13 जनवरी तक राहत दी थी, लेकिन अब कोर्ट ने इस मामले में राहत देने से इनकार कर दिया है। न्यायालय के इस रुख के बाद सोनू के कथित अवैध निर्माण पर कार्रवाई की तलवार लटकती नजर आ रही है।
बीएमसी ने जारी किया था नोटिस
बता दें कि बीएमसी ने पिछले वर्ष अक्टूबर में कथित निर्माण को लेकर सोनू सूद को नोटिस जारी किया था। उस नोटिस के खिलाफ अभिनेता ने मुंबई उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था। न्याययालय में सुनवाई के दौरान 12 जनवरी को बीएमसी ने सोनू सूद को आदतन अपराधी बताया था। बीएमसी ने न्यायालय में कहा था कि अभिनेता लगातार नियम तोड़ते रहे हैं। बीएमसी ने दलील देते हुए कहा था कि पहले दो बार तोड़क कार्रवाई के बावजूद उपनगर जुहू में छह मंजली रिहायशी इमारत शक्ति सागर में अनधिकृत रुप से काम कराकार उसे होटल में तब्दील कर दिया।
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हलफनामे में क्या कहा?
उच्च न्यायालय ने बीएमसी को इस मामले में हलफनामा दाखिल करने को कहा था। बीएमसी ने अपने हलफनामा में कहा था कि अभिनेता आदतन अपराधी हैं। बता दें कि बीएमसी ने सितंबर 2018 में अवैध निर्माण पर प्रारंभिक कार्रवाई शुरू की थी। लेकिन बाद में सोनू सूद ने निर्माण कार्य जारी रखा था। उसके बाद 12 नवंबर 2018 को भी इस पर तोड़क कार्रवाई की गई थी। लेकिन सोनू सूद ने न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था और निर्माण कार्य जारी रखा था।