दिल्ली के उप-राज्यपाल बोले, ‘मेरा सिर शर्म से झुक गया है’

कंझावाला क्षेत्र में युवती के साथ हुई घटना पर सभी क्षेत्रों से कठोर प्रतिक्रिया आ रही है। इसको लेकर उप-राज्यपाल और सत्ताधारी दल भी कड़ी कार्रवाई का निर्देश दे चुके हैं।

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नए साल की सुबह रोहिणी जिले के कंझावला इलाके में कथित हादसे में एक लड़की के संदिग्ध हालत में दर्दनाक मौत के मामले पर दिल्ली के उपराज्यपाल (एलजी) विनय कुमार सक्सेना ने भी दुख प्रकट किया है। उन्होंने कहा कि “कंझावला-सुल्तानपुरी में हुए अमानवीय अपराध पर मेरा सिर शर्म से झुक गया है और मैं अपराधियों की राक्षसी संवेदनहीनता से स्तब्ध हूं।”

आरोपियों की खैर नहीं
एलजी ने कहा कि उन्होंने पुलिस कमिश्नर संजय अरोड़ा को पूरे मामले की जांच और आरोपितों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं। वे कमिश्नर के साथ निगरानी कर रहे हैं और आरोपितों को पकड़ लिया गया है। सभी पहलुओं पर गहनता से विचार किया जा रहा है। यहां तक कि पीड़ित परिवार की हर संभव सहायता सुनिश्चित की जाएगी। इस घटना के बाद एलजी ने आमलोगों से भी अपील की है कि सब मिलकर एक अधिक जिम्मेदार और संवेदनशील समाज की दिशा में काम करें।

पुलिसे के दावे पर ‘आप’ का सवाल
सुल्तानपुरी से कंझावला में इस हादसे को लेकर पुलिस की कार्यप्रणाली पर भी प्रश्न खड़े हो गए हैं। आम आदमी पार्टी के विधायक सौरभ भारद्वाज का कहना है कि दो दिन पहले दिल्ली पुलिस ने प्रेस वार्ता कर जगह-जगह नए साल पर जश्न को लेकर सुरक्षा आदि का हवाला देते हुए पुलिस अफसरों की तैनाती की डिटेल दी थी, लेकिन जिस तरह हादसा हुआ है यह देश का सबसे बड़ा हादसा हो गया है, जिसमें किसी को गाड़ी से इतने किलोमीटर घसीटा हो और उसकी मौत हुई हो गई।

पौने घंटे लगे पुलिस पहुंचने में
हादसे के बाद रविवार तड़के इस मामले में पहली कॉल रविवार सुबह 3 बजकर 24 मिनट पर हुई। युवती की लाश सड़क पर मिलने की सूचना तड़के 4 बजकर 11 मिनट की है। यानी पूरे पौने घंटे तक पुलिस की लोकेशन क्या थी? इस घटना की सूचना देने वाले कॉलर का कहना है वह सात बार फोन कर बातचीत कर पुलिस को गाड़ी के बारे में लगातार बताता रहा लेकिन पुलिस एक्टिव नहीं थी।

सूत्रों की माने तो केस में कई कड़ियां मिसिंग है। मृतका की पहचान क्यों नहीं उजागर की गई। कई किलोमीटर लंबे रूट पर लगे सीसीटीवी कैमरे में तो यह घटना कैद हुई होगी। इस स्थिति में फुटेज में क्या दिखा, जिस सड़क पर घसीटते हुए वारदात हुई, उस पूरे रूट पर कितने निशान कलेक्ट हुए। पुलिस की एक्सीडेंट थ्योरी पर ऐसे कई सवाल भी खड़े हो रहे हैं।

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जांच में कड़ियां मिसिंग
सूत्रों के मुताबिक कंझावला में जिस जगह पर शव मिला, उस समय सूचना पाकर दो जिलों के चार एसएचओ जांच में लगे थे। जिस तरह से यह खौफनाक वारदात हुई पहली नजर में यह महज रोड एक्सीडेंट दिखाई नहीं देता। इससे भी इनकार नहीं किया जा सकता कि युवती की हत्या के बाद हादसा दिखाने की कोशिश की गई हो। जिस जगह कथित एक्सीडेंट हुआ और जहां शव मिला उसमें कई किलोमीटर की दूरी है।

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