महाविकास! अब इस मंत्री पर लगा 300 करोड़ के घोटाले का आरोप

महाविकास आघाड़ी सरकार में मंत्रियों और नेताओं पर आरोप का दौर लगातार चल ही रहा है। पूर्व मुंबई पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह द्वारा तत्कालीन गृहमंत्री पर लगाए गए आरोप के बाद अब एक अन्य मंत्री की भ्रष्टाचार में संलिप्तता को लेकर आरोप लगाए जा रहे हैं।

114

महाविकास आघाड़ी सरकार के मंत्रियों पर आरोपों का सिलसिला बढ़ता ही जा रहा है। अब एक निलंबित आरटीओ अधिकारी ने सरकार के एक हैवीवेट मंत्री समेत नौ लोगों के विरुद्ध नासिक के पुलिस थाने में प्रकरण पंजीकृत करने के लिए शिकायत पत्र दिया है। इस प्रकरण में 300 करोड़ रुपए के लेनदेन की बात सामने आ रही है।

जिन पर आरोप लग रहे हैं उसमें से एक राज्य सरकार में मंत्री एडवोकेट अनिल परब हैं जिनका नाम मुख्यमंत्री के नजदीकियों में गिना जाता है। उनके पास वर्तमान में परिवहन विभाग की जिम्मेदारी है। लेकिन बीते कुछ महीनों से उन पर भ्रष्टाचार के आरोप लग रहे हैं। उनके रिसॉर्ट के संबंध में भाजपा नेता किरिट सोमैया ने भ्रष्टाचार का आरोप लगाया था, परिवहन विभाग में स्थानांतरण के लिए पैसे लेने का आरोप भी अब उसमें जुड़ गया है। किरिट ने संबंधित विभागों में जांच के लिए पत्र भी दिया है। इसके अलावा मनसे भी मंत्री के त्यागपत्र की मांग कर रही है। उसका कहना है कि इस सरकार के काल में 100 करोड़ की महावसूली अब 300 करोड़ रुपए तक पहुंच गई है।

इस मराठी में पढ़ें – आता अनिल परबांचा ३०० कोटी बदली घोटाळा?

ये है प्रकरण
15 मई 2021 को गजेंद्र पाटील नामक मोटर ट्रांसपोर्ट विभाग के अधिकारी ने नासिक के पंचवटी पुलिस थाने में एक पत्र दिया है। जिसमें नौ लोगों का नाम है। इस प्रकरण में पुलिस ने पूछताछ के लिए शिकायतकर्ता को बुलाया था लेकिन वो स्वास्थ्य कारणों से उपस्थित नहीं हुई। इस बीच आयुक्त दीपक पाण्डे ने इस प्रकरण में अपराध शाखा के पुलिस उपायुक्त को जांच का आदेश दिया है। गजेंद्र पाटील के 31 मई 2021 के बाद उपस्थित होने की आशा है। गजेंद्र पाटील राज्य परिवहन विभाग के निलंबित अधिकारी हैं।

पत्र में क्या है
इसमें आरोप लगाया गया है कि उप-परिवहन अधिकारी बजरंग खरमाटे ने राज्य के विभागीय स्थानांतरणों में आर्थिक व्यवहार किया है। उनके इस कार्य में परिवहन मंत्री अनिल परब संरक्षण दे रहे हैं। सूत्रों के अनुसार इस पत्र में यह भी बताया गया है कि स्थानांतरण के लिए किस अधिकारी से कितना आर्थिक व्यवहार किया गया है। पत्र में उपसचिव साबले का भी नाम है।

भाजपा नेता ने भी लगाया है आरोप
किरिट सोमैया ने अनिल परब पर जो गंभीर आरोप लगाए हैं, उसमें से एक आरोप दापोली के मुरुड में कोस्टल रेग्युलेशन जोन का उल्लंघन करके रिसॉर्ट निर्माण करने का है। इस रिसॉर्ट का निर्माण कोरोना काल में किये जाने का आरोप लग रहा है। इसका उद्घाटन भी जनवरी 2021 में किया गया था। जिस स्थान पर यह रिसॉर्ट बना है वह भूमि कृषि कार्य के लिए है।

अब दूसरा प्रकरण राज्य परिवहन विभाग से संबंधित है। जिसके लिए किरिट सोमैया ने राज्यपाल भगतसिंह कोश्यारी को शिकायत पत्र दिया है। इस प्रकरण में राज्यपाल ने लोकायुक्त संजय भाटिया को जांच करके रिपोर्ट सौंपने का आदेश दिया है।

ये भी पढ़ें – अब हवाई यात्रा पर सरकार ने किया ये बदलाव! यात्रा से पहले जान लें

मनसे ने की मंत्री पद से हटाने की मांग
अनिल परब के विरुद्ध महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना ने भी निष्पक्ष जांच की मांग की है। पार्टी प्रवक्ता संदिप देशपांडे ने कहा कि पहले के 100 करोड़ रुपए की महावसूली अब 300 करोड़ पर चली गई है। इन प्रकरणों की जांच तक अनिल परब को मंत्रिपद छोड़ देना चाहिये।

Join Our WhatsApp Community
Get The Latest News!
Don’t miss our top stories and need-to-know news everyday in your inbox.