महाराष्ट्र में लेटर बम… पूर्व आयुक्त ने फोड़ी आघाड़ी की हांडी?

महाराष्ट्र की राजनीति में लेटर बम ने हंगामा मचा दिया है। राज्य के इतिहास में यह पहली घटना है जब एक वरिष्ठतम पुलिस अधिकारी ने गृह मंत्री पर धन उगाही करवाने का आरोप लगाया है।

93

मुंबई के पूर्व पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को एक पत्र लिखा है। इस पत्र में उन्होंने कहा है कि गृह मंत्री अनिल देशमुख ने निलंबित पुलिस अधिकारी सचिन वाझे को 100 करोड़ रुपए जमा करने को कहा था। इस लेटर बम के सामने आते ही पक्ष-विपक्ष में हलचल मच गई है। विपक्ष को बैठे-बिठाए मुद्दा मिल गया है तो गृहमंत्री ने इस आरोप को झूठा बताया है।

महाविकास आघाड़ी को झटके पर झटका लग रहा है। नेताओं के आचरण पर आरोपों के बाद अब मंत्रियों के विरुद्ध ब्यूरोक्रेसी हो गई है। अब तक आधिकारियों का उपयोग करके सत्ता चलाने का जहां आरोप लगता रहा है वहीं, अब अधिकारियों ने सीधे गृहमंत्री पर हमला बोला है। इसमें ये बहुत खास है कि पूर्व पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह आईपीएस अधिकारी हैं और अभी महाराष्ट्र में कार्यरत् हैं।

ये भी पढ़ें – महाराष्ट्र: गृहमंत्री का वो दावा पड़ा भारी? चौबीस घंटे में लगे तेईस आरोप…

परमबीर सिंह ने आठ पन्नों का पत्र लिखा है। जिसमें सबसे बड़ा आरोप है कि गृह मंत्री अनिल देशमुख ने एपीआई सचिन वाझे को रेस्टारंट, बार और संस्थानों से सौ करोड़ रुपए जमा करने को कहा था। परमबीर सिंह का यह कथित लेटर बम महाराष्ट्र की राजनीति में तूफान से कम नहीं है। इसके लिए सचिन वाझे को गृह मंत्री ने फरवरी-मार्च में बुलाया था और प्रतिमाह सौ करोड़ रुपए जमा करने को कहा था।

इसके अलावा दूसरा बड़ा आरोप है कि पुलिस अधिकारियों को गृह मंत्री के ज्ञानेश्वरी निवासस्थान पर बुलाया जाता था। वहां पर अधिकारियों के आदेश को पीछे करते हुए निर्णय लिये जाते थे।

ये भी पढ़ें – ठाकरे के दर पर कोरोना, आदित्य निकले कोरोना पॉजिटिव

इस लेटर बम के मीडिया के सामने आने के बाद ही गृह मंत्री अनिल देशमुख ने भी अपनी सफाई पेश की है। इसमें उन्होंने कहा है कि परमबीर सिंह ने खुद को बचाने के लिए ये आरोप किया है। उन्होंने कानूनी कार्रवाई से बचने के लिए ये सब किया है।

ये भी पढ़ें – अब मनसुख हिरेन प्रकरण भी महाराष्ट्र के हाथ से निकला

इस बीच जानकारी मिली है कि परमबीर सिंह ने इस पत्र को मुख्यमंत्री के अलावा राज्यपाल भगतसिंह कोश्यारी को भी दिया है। इसके अलावा पत्र की प्रति अतिरिक्त मुख्य सचिव और प्रमुख सचिव को भी दिया है।

 

Join Our WhatsApp Community
Get The Latest News!
Don’t miss our top stories and need-to-know news everyday in your inbox.