बॉक्सिंग, जूडो, कुश्ती में हमारी बेटियों का दबदबा अद्भुत रहा : प्रधानमंत्री मोदी

महिला खिलाड़ियों के प्रदर्शन को सराहते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि बॉक्सिंग, जूडो और कुश्ती आदि खेलों में जिस प्रकार से हमारी बेटियों ने दबदबा बनाया है, वह अद्भुत है।

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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने राष्ट्रमंडल खेलों में महिला खिलाड़ियों के प्रदर्शन की विशेष रूप से सराहना करते हुए कहा कि बॉक्सिंग, जूडो और कुश्ती जैसे खेलों में जिस प्रकार हमारी बेटियों ने दबदबा बनाया है, वह अद्भुत है।

प्रधानमंत्री 13 अगस्त को अपने आवास पर राष्ट्रमंडल खेल 2022 में भाग लेने वाले भारतीय दल से मुलाकात की। प्रधानमंत्री ने खिलाड़ियों से बातचीत कर उनके अनुभवों को जाना और भविष्य की खेल प्रतियोगिताओं के लिए उत्साहवर्धन किया। उन्होंने कहा कि खेलों में हमारे एथलीटों की उपलब्धियों पर पूरे देश को गर्व है।

क्या किया था वादा?
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि राष्ट्रमंडल खेल शुरू होने से पहले उन्होंने वादा किया था कि जब आप लौटेंगे तो हम सभी मिलकर विजयोत्सव मनाएंगे। मेरा विश्वास था कि आप विजयी होकर आने वाले हैं और मेरा मैनेजमेंट भी था कि कितनी ही व्यस्तता होगी, आप लोगों के लिये समय निकालूंगा और विजयोत्सव मनाऊंगा।

प्रधानमंत्री ने कहा कि बीते कुछ हफ्तों में देश ने खेल के मैदान में दो बड़ी उपलब्धियां हासिल की हैं। राष्ट्रमंडल खेलों में ऐतिहासिक प्रदर्शन के साथ-साथ देश ने पहली बार शतरंज ओलंपियाड का आयोजन किया है। अपनी समृद्ध परंपरा को जारी रखते हुए हमने शतरंज में भी अच्छा प्रदर्शन किया। मैं उन सभी पदक विजेताओं को भी बधाई देता हूं।

खेलों में भारतीयों की दिलचस्पी का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि करोड़ों भारतीय रात-रात जागकर खेल स्पर्धाओं को देख रहे थे। बहुत से लोग अलार्म लगाकर सोते थे कि खेल प्रदर्शन का अपडेट लेंगे।

आगे प्रधानमंत्री ने कहा कि पिछली बार की तुलना में इस बार हमने चार नए खेलों में जीत का नया रास्ता बनाया है। लॉन बाउल्स से लेकर एथलेटिक्स तक, अभूतपूर्व प्रदर्शन रहा है। इस प्रदर्शन से देश में नए खेलों के प्रति युवाओं का रुझान बहुत बढ़ने वाला है।

महिला खिलाड़ियों के प्रदर्शन को सराहते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि बॉक्सिंग, जूडो और कुश्ती आदि खेलों में जिस प्रकार से हमारी बेटियों ने दबदबा बनाया है, वह अद्भुत है। उन्होंने कहा कि आप सभी देश को सिर्फ एक मेडल नहीं देते, सेलिब्रेट करने और गर्व करने का अवसर ही नहीं देते, बल्कि ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ की भावना को भी सशक्त करते हैं। आप खेल में ही नहीं, बाकी सेक्टर में भी देश के युवाओं को बेहतर करने के लिए प्रेरित करते हैं।

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उन्होंने कहा कि तिरंगे की ताकत क्या होती है, यह हमने कुछ समय पहले ही यूक्रेन में देखा है। तिरंगा युद्धक्षेत्र से बाहर निकलने में भारतीयों का ही नहीं, बल्कि दूसरे देशों के लोगों के लिए भी सुरक्षा कवच बन गया था।

प्रधानमंत्री ने इस बात पर खुशी जाहिर की कि खेलो इंडिया के मंच से निकले अनेक खिलाड़ियों ने इस बार बेहतरीन प्रदर्शन किया है। टॉपस का भी पॉजिटिव प्रभाव देखने को मिल रहा है। नई प्रतिभा की खोज और उनको पोडियम तक पहुंचाने के हमारे प्रयासों को हमें और तेज करना है।

उन्होंने कहा कि पिछली बार मैंने आपसे देश के 75 स्कूलों, शिक्षण संस्थानों में जाकर बच्चों को प्रोत्साहित करने का आग्रह किया था। ‘मीट द चैंपियन’ अभियान के तहत अनेक साथियों ने व्यस्तताओं के बीच यह काम किया भी है। इस अभियान को जारी रखें। इस अवसर पर केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर और खेल राज्य मंत्री निसिथ प्रमाणिक भी उपस्थित थे।

बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में भारतीय दल ने शानदार प्रदर्शन किया था। भारतीय खिलाड़ियों ने 22 स्वर्ण, 16 रजत और 23 कांस्य सहित कुल 61 पदक जीते। ऑस्ट्रेलिया, इंग्लैंड और कनाडा के बाद भारत पदक तालिका में चौथे स्थान पर रहा।

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