तालिबान और पाकिस्तान के बीच गठजोड़ का एक पुख्ता सबूत सामने आया है। अफगानिस्तान में आतंकवादी संगठन तालिबान और आतंकवाद की फैक्ट्री पाकिस्तान दोनों एक साथ आकर पंजशीर में स्थानीय विद्रोहियों द्वारा दी जा रही चुनौतियों का सामना कर रहे हैं। पंजशीर को जीतने के लिए लड़ाई लड़ रहे तालिबानी लड़ाको की मदद करने के लिए पाकिस्तान की वायु सेना भी पहुंच गई है। मुट्ठी भर पंजशीर के विद्रोहियों पर ड्रोन से बमबारी किए जाने की बात कही जा रही है। इसी के साथ तालिबान ने पंजशीर पर अपना कब्जा होने का दावा किया है।
स्थानीय मीडिया की रिपोर्ट में बताया जा रहा है कि पाकिस्तानी ड्रोन स्मार्ट बमों का इस्तेमाल कर पंजशीर पर बम बरसा रहे हैं।
#BREAKING🔴
Pakistani drones starts bombarding #Panjshir
Panjshir being bombed by Pakistan Air Force drones using smart bombs.In the recent battle of Panjshir, Pakistani special forces familiar with Panjshir lands,&have a map of the area,attacked the strongholds from the air.
— Parsi|Anjoman°³ (@MaganAryava) September 5, 2021
आईएएसआई प्रमुख ने की तालिबानी नेताओं से मुलाकात
पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएएसआई प्रमुख ने तालिबान नेताओं से मिलने, सुरक्षा और सीमा मुद्दों पर चर्चा करने के लिए अफगानिस्तान का दौरा किया था। उसके बाद से पाकिस्तान वायु सेना ने पंजशीर में बम बरसाने शुरू कर दिए हैं।तालिबान के प्रवक्ता जबीहुल्ला मुजाहिद ने मुलाकात की पुष्टि की है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान की इंटर-सर्विस इंटेलीजेंस एजेंसी के महानिदेशक फैज हमीद ने एक प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया और अफगानिस्तान में नई सरकार बनाने के प्रयासो के हाल के बदलावों के बारे में जानकारी ली।
ड्रोन से बमबारी
अफगान प्रतिरोध के अंतिम गढ़ पंजशीर प्रांत पर पाकिस्तानी वायु सेना के ड्रोन द्वारा बमबारी की गई। 5 सितंबर को इसकी सूचना मिली। पूर्व समांगन सांसद जिया आर्यनजाद ने आमज न्यूज को बताया कि पाकिस्तानी ड्रोन ने पंजशीर पर बमबारी की।
हमले में मारे गए ये नेता
इससे पहले 5 सितंबर की रात, नेशनल रेजिस्टेंस फ्रंट के प्रवक्ता फहीम दशती, पंजशीर में तालिबान से लड़ते हुए मारे गए। समाचार एजेंसी ने बताया कि जनरल साहिब अब्दुल वडूद जोर, अहमद शाह मसूद के भतीजे और पूर्व मुजाहिदीन कमांडर भी लड़ाई में मारे गए। अफगानिस्तान के नेशनल रेजिस्टेंस फ्रंट के फेसबुक पेज ने एक बयान में कहा, “भारी मन से हम तालिबान आतंकवादियों के हमले में फ्रंट के प्रवक्ता फहीम दशती की मौत की सूचना दे रहे हैं।” कट्टरपंथी समूह के खिलाफ लड़ाई में अमीर साहब अहमद मसूद के कार्यालय के प्रमुख फहीम दशती और अफगानिस्तान के राष्ट्रीय नायक के भतीजे जनरल साहिब अब्दुल वडूद जोर, आपके त्याग और बलिदान का अभिनंदन ! इस बीच, पंजशीर घाटी में नेशनल रेजिस्टेंस फ्रंट ने लड़ाई में भारी हताहतों की रिपोर्ट के बाद संघर्ष विराम का आह्वान किया है। लेकिन अब तालिबान ने पंजशीर पर अपना कब्जा होने का दावा किया है।
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फहीम दशती ने कही थी ये बात
पिछले महीने फहीम दशती ने कहा था कि पंजशीर में हमारे सैनिक न केवल प्रांत के लिए बल्कि अफगानिस्तान के लिए भी तालिबान के खिलाफ लड़ रहे हैं। हम सिर्फ एक प्रांत के लिए नहीं बल्कि पूरे अफगानिस्तान के लिए लड़ रहे हैं। हम अफगानिस्तान के, महिलाओं के, अल्पसंख्यकों के अधिकारों के बारे में चिंतित हैं। तालिबान को समानता और अधिकारों की गारंटी देनी चाहिए। हम विभिन्न देशों के संपर्क में हैं।”
तालिबान का दावा
तालिबान ने 5 सितंबर को दावा किया कि उन्होंने पंजशीर पर कब्जा कर लिया है। तालिबान के एक प्रवक्ता ने कहा, “सभी जिला मुख्यालय, पुलिस मुख्यालय और पंजशीर में सभी कार्यालयों पर हमने कब्जा कर लिया है।”