नेपाल की सेना ने 30 मई को उस स्थान का पता लगा लिया, जहां 29 मई को नेपाल की निजी एयरलाइंस तारा एयर का 19 सीटर विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। नेपाली सेना के अनुसार 14 लोगों के शव बरामद कर लिए गए हैं। कुछ लोगों के शवों की पहचान अभी नहीं हो पा रही है। नेपाली सेना ने दुर्घटनास्थल से तस्वीरें जारी की हैं।
तारा एयर का 9 एनएईटी जुड़वां इंजन वाला यह विमान सुबह पहाड़ी जिले में लापता होने के कुछ घंटे बाद मस्टैंग जिले के कोवांग गांव में दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। इसमें चार भारतीयों सहित 22 लोग सवार थे। ये चारों महाराष्ट्र के ठाणे के निवासी थे। इनके शवों की भी पहचान हो गई है। इसमें वैभवी बांदेकर त्रिपाठी उनके पति और दो बच्चों का समावेश है।
पुलिस निरीक्षक राज कुमार तमांग के नेतृत्व में एक टीम हवाई मार्ग से दुर्घटनास्थल पर पहुंची। अधिकारियों ने बताया कि यात्रियों के कुछ शवों की पहचान अभी नहीं हो पा रही है। फिलहाल, पुलिस अवशेष एकत्र कर रही है।
इससे पहले नेपाल की सेना ने बताया कि तारा एयर के विमान की तलाश के लिए सुबह बचाव अभियान फिर शुरू किया गया है। 29 मई को मस्टैंग जिले में बर्फबारी के बाद यह अभियान बंद कर दिया गया था।
नेपाल की सेना ने स्थानीय नागरिकों के हवाले से जानकारी दी है कि यह विमान मनापति हिमालय में भूस्खलन की वजह से लामचे नदी के मुहाने पर दुर्घटनाग्रस्त हो गया।
नेपाल सेना के प्रवक्ता नारायण सिलवाल ने बताया कि खोज एवं बचाव दल ने 29 मई की सुबह दुर्घटनास्थल का पता लगाया। लापता विमान का मलबा इलाके में स्थित एक तलहटी में बिखरा मिला है।
उल्लेखनीय है कि पोखरा हवाई अड्डे से उड़ा तारा एयर का विमान 30 मई की सुबह लापता हो गया था। विमान में 19 यात्रियों और चालक दल के तीन सदस्य सवार थे। एयरलाइंस कंपनी के मुताबिक इनमें 13 नेपाली, चार भारतीय और दो जर्मन नागरिक शामिल हैं।
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