अब यहां भी लव जिहाद पर 10 साल की सजा!

गुजरात धर्म स्वतंत्रता (संशोधन) विधेयक, 2021 में धर्म परिवर्तन के लिए विवाह करने वाले अथवा विवाह के बाद धर्म परिवर्तन कराने को अपराध माना गया है।

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उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और हिमाचल प्रदेश में लव जिहाद पर कानून बनने के बाद अब गुजरात में भी प्यार और शादी के नाम पर जबरन धर्म परिवर्तन कराने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए एक विधेयक विधानसभा में बहुमत से पारित कर दिया गया है। गुजरात के गृह मंत्री प्रदीपसिंह जडेजा ने यह विधेयक पेश किया।

 सरकार ने गुजरात फ्रीडम ऑफ रिलीजन एक्ट,2003 में संशोधन कर इसे और अधिक कठोर बनाने तथा शादी के लिए जबरन धर्म परिवर्तन कराने पर रोक लगाने के लिए यह विधेयक पारित किया है।

दर्ज कराई जा सकती है शिकायत
गुजरात धर्म स्वतंत्रता (संशोधन) विधेयक, 2021 में धर्म परिवर्तन के लिए विवाह करने वाले अथवा विवाह के बाद धर्म परिवर्तन कराने को अपराध माना गया है। इस तरह के विवाद से नाराज परिवार का कोई सदस्य, माता-पिता-बहन अथवा रिश्तेदार या दत्तक रिश्तेदार पुलिस में शिकायत करा सकता है।

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ये हैं सजा के प्रावधान
गैर कानूनी तरीके से दूसरे धर्म के लड़के या लड़की से विवाह कराने में मदद करने या परामर्श देने वाले को भी अपराध में भागीदार माना जाएगा। विवाह के बाद धर्म परिवर्तन कराना अथवा घर्म परिवर्तन के इरादे से शादी करना अपराध माना जाएगा। ऐसा अपराध करनेवाले के लिए 3 से 5 साल की सजा के साथ ही 2 लाख के जुर्माने की सजा का प्रावधान है। इसमें मददगार या परामर्श देने वाली संस्था या संगठन के पदाधिकारियों के लिए 3 से 10 साल तक की सजा तथा 5 लाख तक जुर्माने का प्रावधान है।

क्या है लव जिहाद?
लव जिहाद अंग्रेजी के लव और उर्दू के जिहाद शब्द से बना है। इसका मतलब है कि किसी मकसद को पूरा करने के लिए पूरी शक्ति लगा देना। यानी जब एक धर्म विशेष को माननेवाले दूसरे धर्म की लड़कियों को अपने प्यार के जाल में फंसाकर उस लड़की का धर्म परिवर्तन करा देते हैं तो यह पूरी प्रक्रिया लव जिहाद कही जाती है।

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