मोदी सरकार का बड़ा फैसला, छह फरवरी से ‘इस’ दर से मिलेगा गेहूं का आटा

केंद्रीय खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण विभाग के सचिवों ने इस संबंध में दिल्ली में बैठक की। इस बैठक में खुले बाजार बिक्री योजना की प्रगति की समीक्षा के बाद यह निर्णय लिया गया।

मुफ्त अनाज योजना के बाद अब केंद्र सरकार ने कम कीमत पर गेहूं का आटा उपलब्ध कराने का फैसला किया है। यह आटा नेफेड और एनएफसीसी के माध्यम से 29.50 रुपये प्रति किलो की दर से उपलब्ध कराया जाएगा। अधिकारियों ने बताया कि इस आटे की बिक्री छह फरवरी से शुरू होगी।

सस्ते दामों पर गेहूं का आटा
केंद्रीय खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण विभाग के सचिवों ने इस संबंध में दिल्ली में बैठक की। इस बैठक में खुले बाजार बिक्री योजना की प्रगति की समीक्षा के बाद यह निर्णय लिया गया। यह फैसला देश में बढ़ती महंगाई पर काबू पाने के लिए लिया गया है और केंद्र सरकार के इस आटे को विभिन्न दुकानों में बिक्री के लिए रखा जाएगा। भारतीय खाद्य निगम (FCI), केंद्रीय भंडार, भारतीय राष्ट्रीय कृषि सहकारी विपणन संघ (NAFED) और भारतीय उपभोक्ता सहकारी संघ (NFCC) के प्रतिनिधियों के साथ हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया।

मोबाइल बिक्री वाहनों के माध्यम से उपलब्ध कराया जाएगा आटा
ये सभी संगठन भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) के डिपो से 3 लाख टन तक गेहूं उठाएंगे और इसे आटे में तब्दील कर इस आटे को विभिन्न खुदरा दुकानों और मोबाइल बिक्री वाहनों के माध्यम से 29.50 रुपये प्रति किलोग्राम की दर से बेचा जाएगा। देश में, केंद्रीय खाद्य और सार्वजनिक वितरण विभाग के सचिव ने कहा। इन सभी संगठनों ने मोटे अक्षरों में ‘भारत आटा’ या अन्य नामों वाले उपभोक्ताओं को 29.50 रुपये प्रति किलोग्राम के अधिकतम खुदरा मूल्य पर गेहूं का आटा बेचने पर सहमति व्यक्त की। गेहूं के आटे की बिक्री के संबंध में संबंधित राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों के प्रशासन की सिफारिशों के अनुसार केंद्र सरकार द्वारा राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों के किसी भी निगमों / सहकारी समितियों / परिसंघों / स्वयं सहायता समूहों को भी गेहूं वितरित किया जाएगा।

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