Cabinet: अहिल्यानगर में महाराष्ट्र कैबिनेट की विशेष बैठक, विकास योजनाओं के लिए इतने हजार करोड़ रुपए मंजूर

राज्य सरकार ने  6  मई को चौंडी (अहिल्यानगर) में राजमाता पुण्यश्लोक अहिल्यादेवी होलकर की त्रिशताब्दी जयंती के उपलक्ष्य में कैबिनेट की विशेष बैठक आयोजित की।

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Cabinet: राजमाता पुण्यश्लोक अहिल्याबाई होलकर की त्रिशताब्दी जयंती के उपलक्ष्य में 6 मई को मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में 5503.69 करोड़ रुपये की विकास योजनाओं को मंजूरी दी गई है।

राज्य सरकार ने  6  मई को चौंडी (अहिल्यानगर) में राजमाता पुण्यश्लोक अहिल्यादेवी होलकर की त्रिशताब्दी जयंती के उपलक्ष्य में कैबिनेट की विशेष बैठक आयोजित की। इस बैठक में उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, उपमुख्यमंत्री अजीत पवार सहित पूरा मंत्रिमंडल उपस्थित था।

अहिल्यादेवी होलकर स्मारक स्थल के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए 681.32 करोड़ रुपये मंजूर
बैठक में चौंडी में पुण्यश्लोक अहिल्यादेवी होलकर स्मारक स्थल के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए 681.32 करोड़ रुपये मंजूर किए गए हैं। अष्टविनायक गणपति मंदिरों के नवीनीकरण के लिए 147.81 करोड़ रुपये, श्री क्षेत्र तुलजाभवानी देवी मंदिर विकास योजना के लिए 1865 करोड़, श्री क्षेत्र ज्योतिबा मंदिर विकास योजना के लिए 259.59 करोड़ रुपये, श्री क्षेत्र त्र्यंबकेश्वर विकास योजना के लिए 275 करोड़ रुपये, श्री क्षेत्र महालक्ष्मी मंदिर विकास योजना के लिए 1445.97 करोड़ रुपये, श्री क्षेत्र माहुरगढ़ विकास योजना के लिए 829 करोड़ रुपये कैबिनेट की बैठक में मंजूर किए गए हैं। साथ ही अहिल्यानगर में बालिकाओं और महिलाओं के लिए नई आईटीआई शुरू किए जाने का निर्णय लिया गया है। इसी तरह राहुरी, जिला अहिल्यानगर में वरिष्ठ स्तर का सिविल न्यायालय स्थापित करने का निर्णय लिया गया है। कैबिनेट की बैठक में ग्राम सामाजिक परिवर्तन फाउंडेशन (वीएसटीएफ) के अंतर्गत क्रियान्वित किए जा रहे मिशन महाग्राम कार्यक्रम की अवधि को 2022-25 के स्थान पर 2028 तक बढ़ाने का निर्णय लिया गया है।

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यशवंत विद्यार्थी योजना
कैबिनेट की बैठक में धनगर समुदाय के छात्रों को एक प्रसिद्ध अंग्रेजी माध्यम आवासीय विद्यालय में शिक्षा प्रदान करने की योजना का नाम राजा यशवंतराव के नाम पर रखा गया है। यह योजना अब ‘यशवंत विद्यार्थी योजना’ के रूप में क्रियान्वित की जाएगी। अब तक इस उद्देश्य के लिए 288.92 करोड़ रुपये वितरित किए जा चुके हैं। राजा यशवंतराव होलकर ने 1797 से 1811 के बीच शिक्षा की उन्नति के लिए अनेक कार्य किये। गुरुकुल जैसी परम्परागत शिक्षा को बढ़ावा दिया।

सैन्य शिक्षा में अनुशासन, नैतिकता और नेतृत्व गुण शामिल थे। शिक्षा सभी के लिए खुली कर दी गई। महल में लड़कियों के लिए शिक्षा सुविधाएं स्थापित की गईं। अब यह योजना उनके नाम पर रखी गई है। धनगर समाज के पोस्ट-मैट्रिक शिक्षा प्राप्त करने वाले मेधावी विद्यार्थियों के लिए राजस्व विभाग मुख्यालय में छात्रावास बनाने की योजना का नाम ‘पुण्यश्लोक अहिल्यादेवी होलकर छात्रावास योजना’ रखा गया है।

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