श्रीलंका में भीषण आर्थिक व राजनीतिक संकट के लिए जिम्मेदार ठहराए गए पूर्व राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे 24 अगस्त को श्रीलंका लौट सकते हैं। यह दावा गोटबाया के करीबी व रूस में श्रीलंका के राजदूत रहे उदयंगा वीरातुंगा ने किया है।
अभूतपूर्व आर्थिक संकट का सामना कर रहे श्रीलंका के तत्कालीन राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे को पिछले माह उस समय देश छोड़कर भागना पड़ा था, जब आंदोलित श्रीलंकाई नागरिकों ने राष्ट्रपति भवन पर कब्जा कर लिया था। सेना के एक विमान से भाग कर गोटबाया पहले मालदीव गए और फिर वहां से सिंगापुर चले गए थे। सिंगापुर पहुंच कर ही गोटबाया ने राष्ट्रपति पद से इस्तीफा दिया था। सिंगापुर में प्रवेश करते ही उन्हें 14 जुलाई को 14 दिन का अल्पकालिक यात्रा पास प्रदान किया गया था। बीते 27 जुलाई को उनके यात्रा पास की अवधि 14 दिन और बढ़ाई गयी थी।
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इसके बाद से उनके जल्द श्रीलंका लौटने की बात कही जा रही थी, किन्तु सिंगापुर में पुन: यात्रा पास की अवधि समाप्त होते ही गोटबाया थाईलैंड पहुंच गए थे। गोटबाया को थाईलैंड में 90 दिन प्रवास की अनुमति मिली थी। पिछले महीने श्रीलंका के मौजूदा राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे ने भी कहा था कि श्रीलंका में अभी ऐसे हालात नहीं है कि गोटबाया वापस लौटें। ऐसे में माना जा रहा था कि गोटबाया के लौटने में विलंब हो सकता है। अब गोटबाया के करीबी और रूस में श्रीलंका के पूर्व राजदूत उदयंगा वीरातुंगा ने कहा है कि वह 24 अगस्त को श्रीलंका लौटेंगे। वीरातुंगा के इस दावे के बाद श्रीलंका में एक बार फिर गोटबाया की वापसी को लेकर चर्चाएं शुरू हो गयी हैं।
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