चीन से चल रहे विवाद के बीच ताइवान ने भारत से मजबूत रिश्तों की बात कही है। ताइवान के विदेश मंत्री जौशीह जोसेफ वू ने कहा है कि मुक्त व्यापार समझौते से ताइवानी कंपनियों को भारत में विनिर्माण के आधार पर उद्योग स्थापित करने के लिए बड़ा प्रोत्साहन मिलेगा।
भारत तेजी से उभरती हुई शक्ति
विदेश मंत्री जोसेफ वू ने कहा कि ताइवान अब अपनी उन कंपनियों को प्रोत्साहित कर रहा है, जिनको चीन का बाजार लाभदायक नहीं लगता है। ताइवान ने ऐसी कंपनियों से कहा है कि उन्हें उत्पादन सुविधाओं के लिए अपना कारोबार भारत में स्थानांतरित करना चाहिए। वू ने कहा कि भारत तेजी से उभरती हुई शक्ति है और तेजी से आर्थिक विकास की तरफ बढ़ रहा है। भारत और ताइवान के बीच मुक्त व्यापार समझौता व्यापक व्यापार और निवेश संबंधों की बाधाओं को दूर करेगा। इससे ताइवान की कंपनियों को विभिन्न उपकरणों और कच्चे माल के लिए ज्यादा शुल्क का भुगतान किए बिना विनिर्माण केंद्र स्थापित करने में मदद मिलेगी।
मुक्त व्यापार समझौता वार्ता शुरू करने का समय
ताइवान के विदेश मंत्री ने कहा कि ताइवान और भारत के बीच मुक्त व्यापार समझौता वार्ता शुरू करने का समय आ गया है। दोनों पक्ष पहले ही समझौते के लिए प्रारंभिक चर्चा कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि हमारे व्यापार संबंध गति पकड़ रहे हैं। ताइवान के निवेशक भारत में निवेश करने के लिए बेताब हैं और ताइवान-भारत के बीच सेमीकंडक्टर सहयोग को दोनों देशों के शीर्ष नेतृत्व का भरपूर समर्थन मिल रहा है। उन्होंने कहा कि भारत एक उभरती हुई शक्ति है, यह तेजी से बढ़ रहा है। वहां के लोगों की मेहनत को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है। भारत के पास भविष्य के लिए अपनी आर्थिक ताकत है और भारत बहुत शक्तिशाली होने जा रहा है।